उज्जैन समेत आधे मध्यप्रदेश में बरसात का दौर जारी, तीन दिन तक रहेगा असर — उज्जैन में 24 घंटे में 3.9 मिमी बारिश दर्ज

उज्जैन लाइव, उज्जैन, श्रुति घुरैया:

दीपावली के बाद मौसम ने अचानक करवट ली है। अरब सागर से उठे डिप्रेशन और ट्रफ की सक्रियता के चलते मध्यप्रदेश के कई जिलों में बारिश का नया दौर शुरू हो गया है। रविवार और सोमवार को उज्जैन समेत 20 से ज्यादा जिले बारिश से भीग गए। कई इलाकों में रिमझिम फुहारें तो कहीं तेज बौछारों का सिलसिला जारी रहा।

 उज्जैन में हल्की से मध्यम बारिश, औसतन 3.9 मिमी पानी दर्ज

कलेक्टर कार्यालय से मिली जानकारी के अनुसार, पिछले 24 घंटे में उज्जैन जिले में औसतन 3.9 मिलीमीटर बारिश दर्ज की गई।

  • उज्जैन तहसील में 7.0 मिमी

  • बड़नगर में 22.0 मिमी

  • तराना में 4.0 मिमी वर्षा हुई।

इस सीजन में अब तक (1 जून से 26 अक्टूबर तक) 868.3 मिलीमीटर बारिश दर्ज की जा चुकी है। मौसम विभाग ने आगामी दो दिनों तक हल्की से मध्यम बारिश की संभावना जताई है।

क्यों बदला मौसम?

सीनियर मौसम वैज्ञानिक डॉ. दिव्या ई. सुरेंद्रन के अनुसार,

“अरब सागर में बना डिप्रेशन और उससे जुड़ा ट्रफ मध्यप्रदेश के बीचों-बीच सक्रिय है। इसी कारण प्रदेश के कई हिस्सों में बारिश हो रही है। अगले तीन दिन तक यही स्थिति बनी रह सकती है।”

उन्होंने बताया कि ग्वालियर-चंबल और उज्जैन संभाग के जिलों में 27 से 30 अक्टूबर तक तेज बारिश, आंधी और गरज-चमक की संभावना है। वहीं बंगाल की खाड़ी में सक्रिय डीप डिप्रेशन भी अगले 48 घंटे में मध्यप्रदेश के मौसम को प्रभावित करेगा।

 तापमान में गिरावट, ठंड ने दी दस्तक

रविवार की बारिश के बाद दिन के तापमान में गिरावट दर्ज की गई। उज्जैन में अधिकतम तापमान 25.7 डिग्री सेल्सियस रहा, जो सामान्य से लगभग 3 डिग्री कम है। इंदौर में 23.5, भोपाल में 24.2 और धार में 23.2 डिग्री तापमान दर्ज किया गया। मौसम विभाग के अनुसार, रात के तापमान में फिलहाल ज्यादा बदलाव नहीं, लेकिन बारिश थमने के बाद ठंड बढ़ने की संभावना है।

50 जिलों में मानसूनी कोटा पूरा, उज्जैन सामान्य बारिश श्रेणी में

हालांकि पूरे मध्यप्रदेश से मानसून आधिकारिक रूप से 13 अक्टूबर को विदा हो चुका है, लेकिन मौसम के बदले मिजाज से अक्टूबर के आखिरी सप्ताह में भी बारिश हो रही है।
इस सीजन में प्रदेश में औसत से 15% अधिक वर्षा दर्ज की गई है।

गुना, ग्वालियर और चंबल संभाग के जिलों में दोगुनी बारिश हुई, जबकि उज्जैन जिले में 94% बारिश के साथ सामान्य वर्षा के आसपास का आंकड़ा दर्ज हुआ।
शाजापुर जिले में सबसे कम यानी 81% बारिश दर्ज की गई है।

नवंबर से बढ़ेगी ठंड, फरवरी तक रहेगा असर

मौसम विभाग ने अनुमान जताया है कि इस बार ठंड फरवरी तक असर दिखा सकती है। डॉ. सुरेंद्रन के अनुसार,

“2010 के बाद यह सबसे ठंडी सर्दियां हो सकती हैं। ला-नीना परिस्थितियों के कारण सामान्य से अधिक ठंड और हल्की बारिश की संभावना बनी हुई है।”

महाकाल की नगरी उज्जैन में इस समय हल्की बारिश का दौर जारी है, जिससे मौसम सुहावना हो गया है। अगले कुछ दिन तक बूंदाबांदी और ठंडी हवाओं का सिलसिला जारी रहेगा। किसानों को फसल की सुरक्षा की सलाह दी गई है, जबकि शहरवासियों के लिए यह मौसम गर्म चाय और भक्ति के सुरों के साथ आनंद लेने का अवसर लेकर आया है।

Leave a Comment